Friday, November 12, 2010

प्रदर्शनी में विभिन्न नामों मे,
 अपना  "नाम" रखो
 चित्रों की  प्रदर्शनी  एक श्रृंखला का अध्ययन .
 प्रदर्शन क्रमशः है,
 " नृत्य," मेरी आत्मा का  स्पर्श ,
 " पिछले दिनो आत्मा,  खड़ी ,गतिशील ,
  चित्रों के बिना मै", "चाँदनी का  कांटा" .............के पीर कौन जानता है?
 "नाम "शामिल हैं.
  चित्रकार आईना,
  आपका" नाम" प्रदर्शनी है.    प्रकृति, स्वतंत्रता, प्रजनन, मामले मे,
 अस्तित्व और गति एक चलती छवि की भाषा,

बाड़

एक आदमी है जो सामग्री के साथ नहीं है , विचारों में
रहता है ... करने के लिए बाड़ अमूर्त है कि ब्रह्मांड बनाता है,

कूदने की कोशिश कर
ठोस इकाई.

Day...............10